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Nakhatrana-Bhuj, Kutch-Gujarat, India
World's No. 1 Database of Lord Bajrang Bali Statues and Temples in India and Abroad on Internet Social Media Site.**Dy. Manager-Instrumentation at Archean Chemical Industries Pvt. Ltd., Hajipir-Bhuj (Gujarat). Studied BE, Instrumentation and Control Engineering (First Class) at Govt. Engineering College, Gandhinagar affiliated to Gujarat University.**

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Sunday, 1 November 2015

विनय पत्रिका_हनुमत स्तुति_गोस्वामी तुलसीदासजी कृत

जयति दशकंठ-घटकर्ण-वारिद-नाद-कदन-कारन, कालनेमि-हंता I
अघटघटना-सुघट सुघट-विघटन विकट, भूमि-पाताल-जल-गगन-गंता II ८ II
भावार्थ :- हे पवनपुत्र हनुमान ! तुम्हारी जय हो ! रावण, कुंभकर्ण और मेघनादके नाशमें तुम्हीं कारण हो; कपटी कालनेमिको तुम्हींने मारा था I तुम असंभवको संभव और संभवको असंभव कर दिखलानेवाले और बड़े विकट हो I पृथ्वी, पाताल, समुद्र और आकाश सभी स्थानोंमें तुम्हारी अबाधित गति है II ८ II

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